Written by Writer Abhimanyu Gurjar and Edited by Editor Mrinali Jadhav
कैद कर ले मुझको किसी चांद सा , निगाहों में रोशन तेरी मैं रहूं , तू घूम आए हर दिन सारा जहां , मैं हर रात तुझे तेरी बाहों में मिलूं , मेरी कमियां भी उस पर दाग सी , पर मेरी सादगी भी तुझको भाती रहे , मैं लिख दूं आसमान पर तुझे , तू बादलों में छुपी शर्माती रहे , जलन होगी चांदनी को , जब तू सामने बैठ मुस्कुराएगी , चांद सी शीतल , सर्द रात सी हसीन हो , ये बात भी सितारों तक जाएगी , लिखना , पढ़ना , भूला हूं देख कर , अब किस तरह , अपने जज़्बात बयान करूं , बस कैद कर ले मुझको किसी चांद सा , निगाहों में रोशन तेरी मैं रहूं ।
Hello dear reader, if you loved reading this poem then consider subscribing to our website.